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सोने और तेल से भी कईं महंगी आपकी निजी जानकारी, कैसे करें सुरक्षित

आने वाले दिनों में आपकी निजी जानकारी सोने और तेल से भी महंगी बिकेगी। क्योंकि, इस जानकारी में आपकी बैंकिंग, चिकित्सक और सामाजिक जानकारी होगी। इस जानकारी के जरिए अपराधी आपके साथ ठगी कर सकते हैं। साथ ही बड़ी-बड़ी कंपनियां जान सकती हैं कि किस समय आपको कौन से उत्पाद की जरूरत है, जिसके बाद वो कंपनी लक्ष्य विपणन के जरिए आपने उत्पाद आपको बेच सकती हैं।

आपने कई बार समाचार में आंकड़े चोरी की खबर देखी या पढ़ी होगी। आपको बता दें साइबर अपराधी इस आंकड़े के जरिए आपके साथ ठगी भी कर सकते हैं। ऐसे में यहां हम आपके लिए अपनी निजी जानकारी को सुरक्षित रखने के लिए सलाह लेकर आए हैं, जिसके जरिए आप अपनी बैंकिंग, चिकित्सक और सामाजिक जानकारी को सुरक्षित करके ठगी से तो बच ही सकते हैं। साथ में लक्ष्य विपणन से भी अपना बचाव कर सकते हैं।

सुरक्षा विशेषज्ञ के मुताबिक ज्यादातर लोग अपने सोशल मीडिया खाते या बैंकिग के लिए कमजोर पासवर्ड का इस्तेमाल करते हैं।लोग अक्सर अपने जन्म की तारीख या ऐसे पासवर्ड का इस्तेमाल करते हैं जिन्हें आसानी से तोड़ा जा सकता है। आंकड़े उल्लंघन के सबसे ज्यादा मामले कमजोर पासवर्ड के कारण ही होते हैं। ऐसे में अगर आप अपने आंकड़ों को सुरक्षित रखना चाहते हैं, तो एक मजबूत पासवर्ड बनाएं। साथ ही अपने पासवर्ड को किसी के साथ साँझा न करें। इसके अलावा अपना पासवर्ड को अपने उपकरण, गूगल शीट और एक्सेल पर सेव करने से भी बचें।

पुराने सॉफ्टवेयर का उपयोग न करें
पुराने सॉफ़्टवेयर में अक्सर नवीनतम सुरक्षा विशेषताएँ नहीं मिलती हैं। इस कारण उसमें सुरक्षा तोडना करना आसान होता है। कई बार नवीनतम सॉफ्टवेयर इस्तेमाल नहीं करने के कारण धोखाधड़ी का शिकार बन जाते हैं। ऐसे में अपने उपकरण को नवीनतम अपडेट के साथ अपग्रेड करें। हर अपडेट के साथ आपको नवीनतम सुरक्षा विशेषताएँ मिलती हैं।

फिशिंग ई-मेल खोलना
आज कल धोखाधड़ी करने वाले, लोगों को ठगने के लिए नए-नए तरीके अपना रहे हैं। ऐसे में वे कई बार फिशिंग ईमेल का सहारा लेते हैं। ईमेल मिलने पर लोग कई बार बिना सोच-विचार किए ही फिशिंग ई-मेल खोल देते हैं या फिर मेल में आए रैंसमवेयर अटैचमेंट को डाउनलोड कर लेते हैं। फिशिंग ई-मेल खोलना सबसे आम गलतियों में से एक है, यह धोखाधड़ी करने वालों को आपके आंकड़ों तक पहुँच प्रदान करता है। इससे बचने के लिए जरूरी है कि आप किसी भी संदिग्ध ईमेल को न खोलें और मेल के साथ अटैचमेंट को डाउनलोड न करें।

आशीष ठाकुर – हिमाचल प्रदेश